UN रिपोर्ट में खुलासा:- नॉर्थ कोरिया बना रहा परमाणु हथियार।

शशि कान्त दुबे

पूरी दुनिया में नॉर्थ कोरिया ही एक ऐसा देश है जो किसी की नहीं सुनता और हमेशा अपने मन की करता है। नॉर्थ कोरिया परमाणु हथियार और उससे जुड़े दूसरे इक्विपमेंट्स बना कर रहा है। रॉयटर्स के मुताबिक, UN की एक रिपोर्ट में इस बात की जानकारी है। रिपोर्ट में कहा गया है कि नॉर्थ कोरिया पर UN की तरफ से लगाए गए प्रतिबंध के बावजूद वो परमाणु और बैलिस्टिक मिसाइल प्रोग्राम चला रहा है। UN के मुताबिकनॉर्थ कोरिया इसके लिए साइबर चोरी की मदद ले रहा है। UN के सैंक्शंस पर नजर रखने वाली मॉनिटरिंग एजेंसी ने UNSC की कमेटी को एक रिपोर्ट सौंपी। इस रिपोर्ट में कहा गया है कि साल 2022 में नॉर्थ कोरिया के हैकर्स ने 1.7 बिलियन डॉलर यानी करीब 14 हजार करोड़ की साइबर चोरियां की। इसके लिए दुनियाभर में क्रिप्टोकरेंसी और फाइनेंशियल एक्सचेंज को टारगेट किया गया। पहले भी मॉनिटरिंग एजेंसी ने नॉर्थ कोरिया पर परमाणु और मिसाइल प्रोग्राम की फंडिंग के लिए साइबर हमले के आरोप लगाए हैं। यह एजेंसी साल में 2 बार UNSC को रिपोर्ट देता है। सैंक्शन मॉनिटरिंग एजेंसी ने कहा- ये हैकर्स नॉर्थ कोरिया की फॉरेन इंटेलिजेंस एजेंसी RGB के लिए काम करते हैं।

अपनी रिपोर्ट में मॉनिटरिंग एजेंसी ने कहा कि वे नॉर्थ कोरिया के मिलिट्री कम्युनिकेशन उपकरण और गोला-बारूद के एक्सपोर्ट की जांच कर रहे हैं। साथ ही संयुक्त राष्ट्र के सदस्य देशों को भी हथियारों या किसी अन्य तरह के मिलिट्री सपोर्ट की बिक्री की जांच कर रहे हैं। हालांकिनॉर्थ कोरिया ने हमेशा ही अपने ऊपर लगे सभी आरोपों से इनकार किया है। इससे पहले KCNA के मुताबिकगुरुवार को नॉर्थ कोरिया के नेता किम जोंग उन ने टॉप जनरल को पद से हटा दिया था और सेना से युद्ध के लिए तैयार रहने को कहा था। साथ ही सैन्य अभ्यास और हथियारों का प्रोडक्शन बढ़ाने के निर्देश भी दिए थे। किम जोंग उन ने मीटिंग के दौरान सेना से कहा था कि वो अपने सभी हथियारों का मास प्रोडक्शन कराएताकि जंग के दौरान उन्हें कमी न हो। दरअसलकिम जोंग उन के आदेशों की एक वजह साउथ कोरिया और अमेरिका के बीच होने वाली मिलिट्री ड्रिल्स भी हैं। ये मिलिट्री ड्रिल 21 से 24 अगस्त तक चलेंगी। इन्हें लेकर नॉर्थ कोरिया चेतावनी भी दे चुका है। बैठक के दौरान किम जोंग उन ने अगले महीने 9 सितंबर को होने वाली मिलिट्री डे परेड की तैयारी को लेकर भी जरूरी निर्देश दिए हैं।

मार्च में नॉर्थ कोरिया ने कई इंटरकॉन्टिनेंटल बैलिस्टिक मिसाइल (ICBM) सहित दूसरी मिसाइलों की टेस्टिंग की थी। देश ने पहली बार अपने परमाणु हथियार दुनिया के सामने पेश किए थे। इस दौरान नॉर्थ कोरिया ने और भी खतरनाक परमाणु हथियार बनाने की बात कही थी। न्यूक्लियर एक्सपर्ट्स का मानना है कि नॉर्थ कोरिया के हथियार बेशक छोटे हैं फिर भी इन्हें इंटरकॉन्टिनेंटल बैलिस्टिक मिसाइलों पर लगाकर अमेरिका और साउथ कोरिया में तबाही मचाई जा सकती है। सियोल नेशनल यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर क्यून सू के मुताबिक मार्च में ऑफिशियली दिखाए गए नॉर्थ कोरिया के परमाणु हथियार 2016 के मुकाबले बड़े हैं। इससे परमाणु हथियार बनाने में उनकी तरक्की साफ दिख रही है। नॉर्थ कोरिया पर साल 2006 में संयुक्त राष्ट्र ने उसके न्यूक्लियर और बैलिस्टिक मिसाइल प्रोग्राम की वजह से प्रतिबंध लगा दिए थे। इसके बाद साल दर साल इन प्रतिबंधों को और बढ़ा दिया गया। 

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